मथुरा। डीएपी की कालाबाजारी का मामला तूल पकडता जा रहा है। अब किसानों ने ऐलान कर दिया है कि डीएपी की कालाबाजारी नहीं रूकी तो उपर तक अपनी बात पहुंचाने के लिए यमुना एक्सप्रेस वे को जाम करेंगें। जिला प्रशासन और कृषि विभाग को दोषियों पर कार्रवाही के लिए 15 अक्तूबर तक का समय दिया गया है।
शनिवार को भारतीय किसान यूनियन अम्बावता ने जिला कृषि अधिकारी कार्यालय पर प्रदर्शन कर धरना दिया। इसके बाद जिला कृषि अधिकारी को अपनी मांगों के संबंध में ज्ञापन सौंपा। किसान यूनियन के पदाधिकारियों ने आरोप लगाया कि कुछ अधिकारी प्रदेश की भाजपा सरकार का माहौल खराब कर रहे हैं। सरकार की छवि बिगाड रहे हैं। इसका खामियाजा आगामी चुनावों में भारतीय जनता पार्टी को भुगतना पड सकता है। मंडल अध्यक्ष लेखराज सिंह ने कहाकि हमारी पहली मांग है कि डीएपी प्राइवेट में 1500 रूपये तक बिक रहा है।
यह स्थिति किसानों के लिए ठीक नहीं है। सरकारी दुकानों पर खाद उपलब्ध ही नहीं है। जिला कृषि अधिकारी ने कहा है कि वह कार्रवाही करेंगे और दोषी पाए जाने पर एफआईआर दर्ज कराएंगे। किसान संगठन ने इसके लिए 15 अक्टूबर तक का समय दिया है। अगर कार्रवाही नहीं होती है और खाद की निर्धारित मूल्य पर किसानों को उपलब्धता सुनिश्चित नहीं की जाती है तो भाकियू अम्बावता उपर तक अपनी बात पहुंचाने के लिए यमुंना एक्सप्रेस वे जाम करेगी।
इसकी जिम्मेदारी जिला प्रशासन की होगी। दूसरी हमारी मांग हे कि किसान सम्मानिधि सभी किसानों को नहीं मिल पा रही है इसके लिए न्याय पंचायत या ग्राम पंचायत स्तर पर एक ऑपरेटर की नियुक्ति की जाए जो किसानों कों आ रही दिक्कतों का समाधान कर सके।


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